मैंने कहा मोहतरम - The Indic Lyrics Database

मैंने कहा मोहतरम

गीतकार - | गायक - | संगीत - | फ़िल्म - | वर्ष - 1995

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पैदल हो तुम माँजी है दूर
हमदर्दी है तुमसे हुज़ूर
मैंने कहा मोहतरम
रुके हुए क्यों है कदम
मैंने कहा मोहतरम
रुके हुए क्यों है कदम
काहे का है इंतज़ार

मन के है लम्बा सफर
पर तुम्हे है काहे का दर
चढ़ती जवानी है रुत भी
सुहानी है मंजिल भी रही पुकार
मैंने कहा मोहतरम
रुके हुए क्यों है कदम

चलने में पॉ थक जाये जो तुम्हारे
ले लेना डैम कही बैठ के प्यारे
चलने में पॉ थक जाये जो तुम्हारे
ले लेना डैम कही बैठ के प्यारे

रही को है ठण्डी चौ जरुरी
बाहों में हो या नदी के किनारे
जाना अभी है तुमको दूर
मेरा कहा करना जरूर
मैंने कहा मोहतरम
रुके हुए क्यों है कदम
मैंने कहा मोहतरम
रुके हुए क्यों है कदम

देखो किसी बेख़ता की
 

ऐसे हसि न उड़ाओ
लगता है ये भी कहोगे
अल्हा हमें न सताओ
चलो रे सखियो चने उतरो
इसे तो लत में फसा के मारो

देखो किसी बेख़ता की
ऐसे हसि न उड़ाओ
लगता है ये भी कहोगे
अल्हा हमें न सताओ
कर दो मुआफ मेरा कुसूर
हद हो गयी अब तो हुज़ूर
मैंने कहा मोहतरम
रुके हुए क्यों है कदम
समझे न मोहतरम
रुके हुए क्यों है कदम
काहे का है इंतज़ार

मन के है लम्बा सफर
पर तुम्हे है काहे का दर
चढ़ती जवानी है रुत भी
सुहानी है मंजिल भी रही उत्तर
मैंने कहा मोहतरम
रुके हुए क्यों है कदम

मैंने कहा मोहतरम
सुन लिया मोहतरम
अरे मैंने कहा मोहतरम
सुन लिया मोहतरम.