देख सकते नहीं तुमको जी भर के हमो - The Indic Lyrics Database

देख सकते नहीं तुमको जी भर के हमो

गीतकार - इन्दीवर | गायक - मुकेश | संगीत - उषा खन्ना | फ़िल्म - इलज़ाम | वर्ष - 1970

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देख सकते नहीं तुमको जी भर के हम
दिल में किसके ग़ुमां क्या गुज़र जाएगा
तुमको अपना कहें तो कहें किस तरह
सारी महफ़िल का चेहरा उतर जाएगा
देख सकते नहीं ...तुम भी बेताब हो हम भी बेचैन हैं
दिल से मिलने की हसरत मचलने लगी
सब्र का अब तो दामन सुलगने लगा
प्यार की आग सीने में जलने लगी
तुमसे मिलने न पाए अगर आज हम
लगता है दिल ही ठहर जाएगा
देख सकते नहीं ...हो किसी देश में या किसी भेष में
शक्लें अपनों की पहचान लेता है दिल
तुम कहो न कहो हम कहें ना कहें
बात दिल की तो खुद जान लेता है दिल
सामने बस यूँ ही मुस्कराते रहो
ज़िन्दगी का मुक़द्दर सँवर जाएगा
देख सकते नहीं ...