होंथों से छुउ लो तुम मेरा गीत अमर कर दो - The Indic Lyrics Database

होंथों से छुउ लो तुम मेरा गीत अमर कर दो

गीतकार - इन्दीवर | गायक - जगजीत सिंह | संगीत - जगजीत सिंह | फ़िल्म - प्रेम गीत | वर्ष - 1981

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होंठों से छूलो तुम
मेरा गीत अमर कर दो
बन जाओ मीत मेरे
मेरी प्रीत अमर कर दोन उमर की सीमा हो
न जनम का हो बंधन
जब प्यार करे कोई
तो देखे केवल मन
नई रीत चलाकर तुम
ये रीत अमर कर दो
होंठों से छूलो तुम ...जग ने छीना मुझसे
मुझे जो भी लगा प्यारा
सब जीता किये मुझसे
मैं हर दम ही हारा
तुम हार के दिल अपना
मेरी जीत अमर कर दो
होंठों से छूलो तुम ...आकाश का सूनापन
मेरे तनहा मन में
पायल छनकाती तुम
आजाओ जीवन में
साँसें देकर अपनी
संगीत अमर कर दो
होंठों से छूलो तुम ...