बका ए दिल के लिये ज्युउन लहुउ जुरुरी है - The Indic Lyrics Database

बका ए दिल के लिये ज्युउन लहुउ जुरुरी है

गीतकार - फरहत शहजादी | गायक - गुलाम अली | संगीत - | फ़िल्म - अंजुमन (गैर-फिल्म) | वर्ष - 1990

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बका-ए-दिल के लिये ज्यूँ लहू ज़ुरूरी है
इसी तरह मेरे जीवन में तू ज़ुरूरी हैये अक्ल वाले नहीं अहल-ए-दिल समझते हैं
के क्यूँ शराब से पहले वुज़ू ज़ुरूरी हैख़ुदा को मुँह भी दिखाना है एक दिन यारो
वफ़ा मिले न मिले जुस्तजू ज़ुरूरी हैकली उम्मीद की खिलती नहीं हर इक दिल में
हर एक दिल में मगर आरज़ू ज़ुरूरी हैहै अहतराम भी लाज़िम के ज़िक्र है उसका
जिगर का चाक भी होना रफ़ू ज़ुरूरी है