सावन की घटाओ - The Indic Lyrics Database

सावन की घटाओ

गीतकार - अमर वर्मा | गायक - खुर्शीद, मन्ना डे | संगीत - सुधीर फड़के | फ़िल्म - आगे बढ़ो | वर्ष - 1947

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सैयाँ ने उंगली मरोरी रे

सैयाँ ने उंगली मरोरी रे

रामकसम सरमा गई मैं

मइका बुलायें जोराजोरी रे

रामकसम सरमा गई मैं

सैयाँ ने उंगली मरोरी रे

रामकसम सरमा गई मैं

हो मइका बुलायें जोराजोरी रे

रामकसम सरमा गई मैं

बड़े बइमान हैं सैयाँ हमारे

सब देखें वो करें इसारे

बोलें चल आ जा चोरीचोरी रे

रामकसम सरमा गई मैं

ओ बोलें चल आ जा चोरीचोरी रे

रामकसम सरमा गई मैं

सैयाँ ने उंगली मरोरी रे

रामकसम सरमा गई मैं

हो मइका बुलायें जोराजोरी रे

रामकसम सरमा गई मैं

नटखत मोरे निकट मत आना

ऊँगली झटक नहीं हाथ दबाना

दुखे कलाई गोरीगोरी रे

रामकसम सरमा गई मैं

ओ दुखे कलाई गोरीगोरी रे

रामकसम सरमा गई मैं

सैयाँ ने उंगली मरोरी रे

रामकसम सरमा गई मैं

हो मइका बुलायें जोराजोरी रे

रामकसम सरमा गई मैं

ओ एक न मानी मोरी सैयाँ नादान ने

हाथ पकड़ गरवा में डारे बेइमान ने

चोली मसक गई मोरी रे

रामकसम सरमा गई मैं

ओ चोली मसक गई मोरी रे

रामकसम सरमा गई मैं

हो मइका बुलायें जोराजोरी रे

रामकसम सरमा गई मैं

सैयाँ ने उंगली मरोरी रे

रामकसम सरमा गई