हंस ले गा ले कैसी ये जागी अंग - The Indic Lyrics Database

हंस ले गा ले कैसी ये जागी अंग

गीतकार - साहिर लुधियानवी | गायक - लता मंगेशकर | संगीत - एस डी बर्मन | फ़िल्म - जाल | वर्ष - 1952

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हँस ले, गा ले, धूम मचा ले, दुनिया फ़ानी है
कह ले दिल की बात सजन से, रात सुहानी हैकैसी ये जागी अगन(दूर कहीं एक तारा करता है ये इशारा)२
जीत है आज उसी की जिस ने सब कुछ हारा
सीने में तूफ़ां है जलने का अरमाँ है
कैसी ये जागी अगनहँस ले, गा ले, धूम मचा ले, दुनिया फ़ानी है
कह ले दिल की बात सजन से, रात सुहानी हैकैसी ये जागी अगनमारीया ...(दूर नगरीया तेरी, रस्ता है अनजाना )२
राह में मिलने वाले, राह में छोड न जाना
सीने में तूफ़ां है, जलने का अरमाँ है
कैसी ये जागी अगनहँस ले, गा ले, धूम मचा ले, दुनिया फ़ानी है
कह ले दिल की बात सजन से, रात सुहानी हैकैसी ये जागी अगनमारीया ...तोड़ के नाते सारे चली हूँ उन के द्वारे
घर आँगन से कहियो अब ना मुझे पुकारे
सीने में तूफ़ां है, जलने का अरमाँ है
कैसी ये जागी अगन, लगी है दिल में लगनसीने में तूफ़ां है, जलने का अरमाँ है
कैसी ये जागी अगन
हँस ले, गा ले, धूम मचा ले, दुनिया फ़ानी है
कह ले दिल की बात सजन से, रात सुहानी है
मारीया ...