प्यार भरी इन आँखों ने - The Indic Lyrics Database

प्यार भरी इन आँखों ने

गीतकार - हसरत | गायक - लता, गीता | संगीत - शंकर-जयकिशन | फ़िल्म - परबत | वर्ष - 1952

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प्यार भरी इन आँखों ने
आजा तुझको याद किया
आजा के बहारें मेरी हैं
गुलशन पे जवानी तुझसे है
बेचैन दुआएं कहती हैं
दुनिया ही सुहानी तुझसे है
हो सुहानी तुझसे है
हो प्यार के सुन्दर सपनों को
जा के क्यूँ बरबाद किया -2

ओ प्यार भरी इन आँखों ने

आ जायें बहारें हमको क्या
इठलायें हवायें हमको क्या -2
फ़रियाद हमारी कहती है
इतारायें फ़िज़ाएं हमको क्या
ओ फ़िज़ाएं हमको क्या
ओ प्यार के मारे इस दिल ने
फिर भी तुझको याद किया -2

ओ प्यार भरी इन आँखों ने

आ जाओ ख़िज़ाँ का फूल हैं हम
इकतार की ऐसी धूल हैं हम
फ़ाके ही लिखें हैं क़िसमत में
फ़रियाद तुम्हारी हैं हरदम
ओ तुम्हारी हैं हरदम
ओ प्यार की मन्ज़िल पर आ के
आज हमें नाशाद किया -2

ओ प्यार भरी इन आँखों ने