मिट्टी कर भी ना देख उधार चलिए जा जानकी - The Indic Lyrics Database

मिट्टी कर भी ना देख उधार चलिए जा जानकी

गीतकार - राजिंदर कृष्ण | गायक - मन्ना दे | संगीत - सी रामचंद्र | फ़िल्म - देवता: | वर्ष - 1956

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मुड़ कर भी न देख सुहागन महलों की ये शान
इस दुनिया में अब तेरा बस पती ही है भगवान( उधर चली जा जानकी जिधर चले तेरे राम
छोड़ न अपना रास्ता ले हिम्मत से काम
जानकी ले हिम्मत से काम ) -२भारत की संतान है तू ताज इसी का रूप -२
सीता बन कर सहती जाना बन बन की तू धूप
हँसते हँसते लड़ती जा तू जीवन का संग्रामछोड़ न अपना रास्ता ले हिम्मत से काम
जानकी ले हिम्मत से कामपतीव्रता तेरे तेज के आगे सूरज भी शरमाये -२
तेरे एक इशारे से ये बादल जल बरसाये -२
तेरे जैसी सतियों से ही भारत का है नामछोड़ न अपना रास्ता ले हिम्मत से काम
जानकी ले हिम्मत से कामतुझमें धरती का बल है और आसमान का ज़ोर -२
अपने आप को क्यूँ समझे फिर तू अबला कमज़ोर
समझे तू अबला कमज़ोर
तू चाहे तो अपने बस में कर ले चारों धामछोड़ न अपना रास्ता ले हिम्मत से काम
जानकी ले हिम्मत से कामपती कहे तो फूल छोड़ कर काँटे गले लगा ले -२
प्रीतम के चरणों में अपना तू संसार बसा ले -२
कुटिया में भी तुझे मिलेगा महलों का आरामछोड़ न अपना रास्ता ले हिम्मत से काम
जानकी ले हिम्मत से काम
उधर चली जा जानकी जिधर चले तेरे राम
छोड़ न अपना रास्ता ले हिम्मत से काम
जानकी ले हिम्मत से काम