हाय ओ रब्बा - The Indic Lyrics Database

हाय ओ रब्बा

गीतकार - देव कोहली | गायक - कुमार सानू | संगीत - वकील बाबू | फ़िल्म - दो जिस्म एक जान हैं हम | वर्ष - 1999

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हाय ओ रब्बा दिल जलता है झूठे सभी दिलासे हैं
प्यार बांटनेवाले देखो प्यार के कितने प्यासे हैं
सुख़ गई जो डाली उसपे फूल नहीं फिर खिलता
इस दुनिया की रीत यही है जो चाहो नहीं मिलता
ये आँखें जो देख रही है ऐसे अजब तमाशे हैं
जिसने प्यार किया है उसका दर्द कोई ना बांटे
अपने जीवन की बगियाँ में सिर्फ खिले हैं काँटे
अंदर से हम टूट गए हैं बाहर से अच्छे खासे हैं
कहाँ हमें जाना है बैठ के तनहा दिल ये सोचे
इन राहों पे बहोत चले हम मगर कहीं न पहुँचे
उल्टे सीधे फेंके कोई ये किस्मत के फाँसे हैं
जीवन का दस्तूर यही है कुछ खोया कुछ पाया
किसी और का लगता है अब अपने तन का साया
देता है इन्सान जो ख़ुदको वो मासूम दिलासे हैं