जानूं जानूँ री काहे खनके है तोरा कंगना - The Indic Lyrics Database

जानूं जानूँ री काहे खनके है तोरा कंगना

गीतकार - शैलेंद्र सिंह | गायक - गीता दत्त, आशा भोंसले | संगीत - एस डी बर्मन | फ़िल्म - इंसान जाग उठा | वर्ष - 1959

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अश:जानूँ जानूँ री काहे खनके है तोरा कंगना -२
गीत:मैं भी जानूँ री छुपके कौन आया तोरे अन.गना
अरी जानूँ री छुपके कौ आया तोरे अंगना
मैं भी जानूँ रीअश:पीपल की चैंया तले बतियाँ बनाय के
पीपल की चैंया तले
पीपल की चैंया तले बतियां बनाय के
भोले भाले दिल को, ले गाया उड़ाय के
सखी जानूँ री, झूमे है काहे तोरा झुमका -२
गीत:मैं भी जानूँ री, छुपके कौन आया तोरे अंगना
अश:जानूँ जानूँ री काहे खनके है तोरा कंगना
गीत:मैं भी जानूँ री छुपके कौन आया तोरे अंगनागीत:बैंया मरोड़ के, घेर के गिराय के
बैंया मरोड़ के
बैंया मरोड़ के, घेर के गिराय के
बैठ गये चैलवा मं में समाय के
गोरी जानूँ मैं, कहाँ पे गिरी है तोरी बिंदिया -२
अश:जानूँ जानूँ री काहे खनके है तोरा कंगना
गीत:मैं भी जानूँ री छुपके कौन आया तोरे अंगना
अश:जानूँ री जानूँ री काहे खनके है तोरा कंगनागीत:तू ना कह किसी से, मैं भी ना कहूँगी
मैं भी ना कहूँगी
अश:अच्छा तो बन जा तू उअन्की,
मैं उनकी रहूँगी, उनकी रहूँगी मैं
उनकि रहूँगी, उनकी रहूँगी
गीत:कोई क्या करे बाजे जब पाँव की
अश:कोई क्या करे बाजे जब पाँव की पयलिया
बोथ:कोई क्या करे बाजे जब पाँव की