सारे शहर में आप सा कोई नहीं - The Indic Lyrics Database

सारे शहर में आप सा कोई नहीं

गीतकार - आनंद बख्शी | गायक - आशा भोसले - मोहम्मद रफी | संगीत - कल्याणजी आनंदजी | फ़िल्म - बैराग | वर्ष - 1976

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सारे शहर में आप सा कोई नहीं, कोई नहीं
यही सोचकर रातभर मैं सोयी नहीं, सोयी नहीं
मेरा दिल जिस पे फिदा है, वो दिलबर, वो मेहबूब हो तुम
थोड़े से तुम हो झूठे, आदमी पर बहुत खूब हो तुम
ऐ हसीना बड़ी खुबसूरत है तू, मुस्कराती हुई कोई मूरत है तू
मैं हूँ यहाँ और तुम हो वहाँ, ओ जान-ए-जा खोये हो कहाँ
कोई तुम्हारी चीज़ तो खोई नहीं, खोई नहीं
तुमको मेरी वफ़ा पे जाने क्या क्या गुमान हो रहे हैं
कितना भी तुम छुपाओ अफ़साने बया हो रहे हैं
इश्क करता हूँ आशिक मेरा नाम है
ऐश करना मेरी जान मेरा काम है
ऐसे भी हो, तुम वैसे भी हो, कैसे भी हो तुम जैसे भी हो
हमको शिकायत आप से कोई नहीं, कोई नहीं