रितु आई सुहानी प्रेम के सपने जागे - The Indic Lyrics Database

रितु आई सुहानी प्रेम के सपने जागे

गीतकार - ए करीम | गायक - राजकुमारी, चित्रगुप्त | संगीत - चित्रगुप्त | फ़िल्म - NA | वर्ष - 1946

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रुमझुम रुमझुम चाल तिहारी

रुमझुम रुमझुम चाल तिहारी

काहे भई मतवारी

रुमझुम रुमझुम चाल तिहारी

काहे भई मतवारी

बलिहारी, बलिहारी

ऐरावत बलिहारी

बलिहारी, बलिहारी ऐरावत बलिहारी

रुमझुम रुमझुम चाल तिहारी

काहे भई मतवारी

रुमझुम

तुम्हरी चाल जो चले कामनी

पिया मन भावे वो गज दामिनी

बिसरत काहे बिरज आपनो

यह अचरज है भारी

रुमझुम रुमझुम चाल तिहारी

काहे भई मतवारी

रुमझुम

बलिहारी, बलिहारी

ऐरावत बलिहारी

रुमझुम रुमझुम चाल तिहारी

काहे भई मतवारी

रुमझुम