रातों को चोरी चोरी बोले मोरा कंगना - The Indic Lyrics Database

रातों को चोरी चोरी बोले मोरा कंगना

गीतकार - हसरत जयपुरी | गायक - मोहम्मद रफ़ी | संगीत - शंकर, जयकिशन | फ़िल्म - बॉय फ्रेंड | वर्ष - 1961

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रातों को चोरी चोरी
बोले मोरा कंगना
आआ आआ

रातों को चोरी चोरी
बोले मोरा कंगना

अबके जो बर्खा आयी
ायेंगे सजना

रातों को चोरी चोरी
बोले मोरा कंगना
अबके जो बर्खा आयी
ायेंगे सजना

रातों को चोरी चोरी
बोले मोरा कंगना

कैसी अनोखी प्यारी होंगी वो रातें
जब के पिया से होंगे मानवा की बातें
कैसी अनोखी प्यारी होंगी वो रातें
जब के पिया से होंगे मानवा की बातें

दो चाँद चमकेंगे मोरि अटरिया
दो चाँद चमकेंगे मोरि अटरिया
एक तो गगन में होगा
दूजा मोरे अंगना

रातों को चोरी चोरी
बोले मोरा कंगना
अबके जो बर्खा आयी
ायेंगे सजना
रातों को चोरी चोरी
बोले मोरा कंगना

बिरहा अगन बैरी
मन को जलाये
बिरहा अगन बैरी
मन को जलाये

बरखा की रिमझिम आग लगाए
बड्रा से कह दे कोई
ठमके बरस लो
बड्रा से कह दे कोई
ठमके बरस लो
आ जाएँ सैय्यां घर तो
जमके बरसना

रातों को चोरी चोरी
बोले मोरा कंगना
अबके जो बर्खा आयी
ायेंगे सजना

रातों को चोरी चोरी
बोले मोरा कंगना
आए आए आए.