रिमझिम के तराने ले के आई बरसात - The Indic Lyrics Database

रिमझिम के तराने ले के आई बरसात

गीतकार - शैलेंद्र | गायक - गीता दत्त - मोहम्मद रफी | संगीत - सचिन देव बर्मन | फ़िल्म - काला बाजार | वर्ष - 1960

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रिमझिम के तराने ले के आई बरसात
याद आये किसी से वो पहली मुलाक़ात
भीगे तनमन पड़े रस की पुहार
प्यार का संदेसा लायी बरखा बहार
मैं ना बोलू आँखे करे अखियों से बात
सुन के मतवाले काले बादलों का शोर
रुमझुम, घुमघुम नाचे मन का मोर
सपनों का साथी चल रहा है मेरे साथ
जब मिलते हो तुम तो छिड़ते है दिल के तार
मिलने को तुमसे मैं क्यों था बेकरार
रह जाती है क्यों होठों तक आ के दिल की बात