परवानों से प्रीत सीख लें - The Indic Lyrics Database

परवानों से प्रीत सीख लें

गीतकार - डी एन मधोकी | गायक - सुरैया | संगीत - बुलो सी रानी | फ़िल्म - बिल्वमंगल | वर्ष - 1954

View in Roman फिर दुनिया को याद रहेगा
तेरा मेरा अफ़साना
शबनम से हम सीखेंगे
फ़रियाद न करना रो लेना
फूलों से सीखेंगे हम
काँटों की नोक पर मिट जाना
फिर दुनिया को याद रहेगा
बुलबुल बनकर जनम जनम
मैं तेरी खोज में गाऊँगी
यही आस लेकर है जीना
इसी आस में मर जाना
फिर दुनिया को याद रहेगा
'>

परवानों से प्रीत सीख लें
शम'अ से सीखें जल जाना
फिर दुनिया को याद रहेगा
तेरा मेरा अफ़साना
शबनम से हम सीखेंगे
फ़रियाद न करना रो लेना
फूलों से सीखेंगे हम
काँटों की नोक पर मिट जाना
फिर दुनिया को याद रहेगा
बुलबुल बनकर जनम जनम
मैं तेरी खोज में गाऊँगी
यही आस लेकर है जीना
इसी आस में मर जाना
फिर दुनिया को याद रहेगा