तुझसे नाराज़ नहीं ज़िन्दगी, हैरान हूँ मैं - The Indic Lyrics Database

तुझसे नाराज़ नहीं ज़िन्दगी, हैरान हूँ मैं

गीतकार - गुलजार | गायक - अनुप घोषल | संगीत - राहुल देव बर्मन | फ़िल्म - मासूम | वर्ष - 1982

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तुझसे नाराज़ नहीं ज़िन्दगी, हैरान हूँ मैं
तेरे मासूम सवालों से परेशान हूँ मैं
जीने के लिए सोचा ही नहीं, दर्द संभालने होंगे
मुस्कुराएएं तो, मुस्कुराने के कर्ज़ उतारने होंगे
मुस्कुराऊँ कभी तो लगता है, जैसे होठों पे कर्ज़ रखा है
ज़िन्दगी तेरे ग़म ने हमें रिश्ते नये समझाए
मिले जो हमें धूप में मिले, छाँव के ठन्डे साए
आज अगर भर आई हैं, बूंदे बरस जाएंगी
कल क्या पता इनके लिए आँखें तरस जाएंगी
जाने कब गुम हुआ, कहाँ खोया, एक आँसू छुपा के रखा था