जबसे पी संग नैना लागे - The Indic Lyrics Database

जबसे पी संग नैना लागे

गीतकार - प्रेम धवन | गायक - राजकुमारी | संगीत - ओपी नैय्यर | फ़िल्म - आसमान | वर्ष - 1952

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जबसे पी संग नैना लागे
तबसे नाहीं लागे नैन
होऽ गिन-गिन घड़ियाँ दिन काटूँ मैं
गिन-गिन तारे काटूँ रैन
पिया आन सखी मोरे नैनन में
मोरी निंदिया चुराए गयो
{मैं तो आस बनी साजन की
और साजन मोरा रे}
लाख मनाऊँ पर नहीं माने
अब मन मोरा रे
मोरे तन-मन में हाए बेदर्दी
कैसा जादू जगाए गयो
{कभी छुप-छुप घूँघट काढ़ूँ
कभी बिंदिया लगाऊँ मैं}
फिर अपने ही आप को तकके शर्मा जाऊँ मैं
ये प्यार नया सिंगार नया
मोरी सुध बिसराए गयो