कहां जा रे द कहां आ गे हमो - The Indic Lyrics Database

कहां जा रे द कहां आ गे हमो

गीतकार - शैलेंद्र सिंह | गायक - मोहम्मद रफ़ी | संगीत - शंकर, जयकिशन | फ़िल्म - प्रेम विवाह | वर्ष - 1959

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कहाँ जा रहे थे कहाँ आ गए हम -२
( किसी की निगाहों से ) -२ ( टकरा गए हम ) -२
कहाँ जा रहे ...खो चले सारे निशाँ मैं यहाँ दिल है कहाँ -२
सोए हैं के जागे चकरा गए हम -२
किसी की निगाहों से ...ये सुबह मस्ती भरी यूँ हँसी जैसे परी -२
क़िस्मत को शायद याद आ गए हम -२
किसी की निगाहों से ...अजनबी अपना हुआ सच मेरा सपना हुआ -२
सारे जहाँ पे लो छा गए हम -२
किसी की निगाहों से ...