अरे रे हैं ये क्या हुआ मैंने ना ये जाना - The Indic Lyrics Database

अरे रे हैं ये क्या हुआ मैंने ना ये जाना

गीतकार - आनंद बख्शी | गायक - लता मंगेशकर, सहगान, उदित नारायण | संगीत - उत्तम सिंह | फ़िल्म - दिल तो पागल है | वर्ष - 1997

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को: हा हा
ल: अरे रे अरे ये क्या हुआ मैंने न ये जाना
अरे रे अरे बन जाए ना कहीं कोई अफ़साना
उ: अरे रे अरे कुछ हो गया कोई न पहचाना
अरे रे अरे बनता है तो बन जाए अफ़साना
को: हा हा

उ: हाथ मेरा थाम लो साथ जब तक हो
बात कुछ होती रहे बात जब तक हो
सामने बैठे रहो तुम रात जब तक हो
ल: अरे रे अरे ये क्या हुआ मैंने न ये जाना

नाम क्या दें क्या कहें दिल के मौसम को
आग जैसे लग गई आज शबनम को
ऐसा लगता है किसी ने छू लिया हमको
को: अरे रे अरे ये क्या हुआ
ल: मैंने न ये जाना
को: अरे रे अरे बन जाए ना
ल: कहीं कोई अफ़साना
को: अरे रे अरे कुछ हो गया
उ: कोई न पहचाना
को: अरे रे अरे बनता है तो
उ: बन जाए अफ़सानाल: तुम चले जाओ ज़रा हम स.म्भल जाएं
धड़कनें दिल की कहीं ना मचल जाएं
वक़्त से आगे कहीं ना हम निकल जाएं
उ: अरे रे अरे कुछ हो गया कोई न पहचाना

हममें तुममें कुछ तो है कुछ नहीं है क्या
और कुछ हो जाये तो कुछ यक़ीं है क्या
देख लो ये दिल जहाँ था ये वहीं है क्या
को: अरे रे अरे ये क्या हुआ
उ: मैंने न ये जाना
को: अरे रे अरे बन जाए ना
उ: कहीं कोई अफ़साना
को: अरे रे अरे कुछ हो गया
ल: कोई न पहचाना
को: अरे रे अरे बनता है तो
ल: बन जाए अफ़साना
को: ल ल ल लल: याद कुछ आता नहीं ये हुआ कबसे
हो गया मुश्क़िल छुपाना राज़ ये सबसे
तुम कहो तो माँग लूँ मैं आज कुछ रब से
को: अरे रे अरे ये क्या हुआ
ल: कोई न पहचाना
को: अरे रे अरे बनता है तो
ल: बन जाए अफ़साना
को: आ आ आ आउ: सामने हैं रास्ते हम गुज़र जायें
या किसी के वास्ते हम ठहर जायें
अब यहाँ तक आ गये हैं अब किधर जायें
को: अरे रे अरे कुछ हो गया
उ: कोई न पहचाना
को: अरे रे अरे बनता है तो
उ: बन जाए अफ़साना
को: आ आ आ आ