बन के चकोरी गोरी झुम झूम नाचो रि - The Indic Lyrics Database

बन के चकोरी गोरी झुम झूम नाचो रि

गीतकार - मजरूह सुल्तानपुरी | गायक - मुकेश | संगीत - चित्रगुप्त | फ़िल्म - हम मतवाले नौजवान | वर्ष - 1961

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बन के चकोरी गोरी झूम-झूम नाचो री
बन के चकोरी गोरी झूम-झूमरुत लहराए आँचल बन के तारे हँसे जब पायल छनके
झांके बादल से चन्दा डारे नैनों का फन्दा
उलझी ज़ुल्फ़ों की डोरी
झूम झूम नाचो री ...झूम रही है हर रात की गंगा दीपक नाचे गाए पतंगा
आँखों ने डाला घेरा फिर भी मतवाला तेरा
आया है चोरी चोरी
झूम झूम नाचो री ...कभी चले तन के कभी झुक जाए नील गगन डोले रुक जाए
नाच जा काजल वाली रैना है काली काली
ओ गोरी गोरी छोरी
झूम झूम नाचो री ...