इंसान किसीसे दुनिया में प्यार किया तो दाराना क्या - The Indic Lyrics Database

इंसान किसीसे दुनिया में प्यार किया तो दाराना क्या

गीतकार - शकील बदायुँनी | गायक - लता मंगेशकर | संगीत - नौशाद | फ़िल्म - मुगल-ए-आजम | वर्ष - 1960

View in Roman

इन्सान किसी से दुनिया में इक बार मुहब्बत करता है
इस दर्द को लेकर जीता है, इस दर्द को लेकर मरता हैप्यार किया तो डरना क्या जब प्यार किया तो डरना क्या
प्यार किया कोई चोरी नहीं की प्यार किया...
प्यार किया कोई चोरी नहीं की छुप छुप आहें भरना क्या
जब प्यार किया तो डरना क्या
प्यार किया तो डरना क्या जब प्यार किया तो डरना क्याआज कहेंगे दिल का फ़साना जान भी लेले चाहे ज़माना -२
मौत वोही जो दुनिया देखे
मौत वोही जो दुनिया देखे घुट घुट कर यूँ मरना क्या
जब प्यार किया तो डरना क्या
प्यार किया तो डरना क्या जब प्यार किया तो डरना क्याउनकी तमन्ना दिल में रहेगी, शम्मा इसी महफ़िल में रहेगी ह्बोक्ष{-२}
इश्क़ में जीना इश्क़ में मरना
इश्क़ में जीना इश्क़ में मरना और हमें अब करना क्या
जब प्यार किया तो डरना क्या
प्यार किया तो डरना क्या जब प्यार किया तो डरना क्याछुप न सकेगा इश्क़ हमारा चारों तरफ़ है उनका नज़ारा -२
परदा नहीं जब कोई खुदा से
परदा नहीं जब कोई खुदा से बंदों से परदा करना क्या
जब प्यार किया तो डरना क्या
प्यार किया तो डरना क्या जब प्यार किया तो डरना क्या
प्यार किया कोई चोरी...