तुम मुझसे रुठे हो चलो मनः - The Indic Lyrics Database

तुम मुझसे रुठे हो चलो मनः

गीतकार - मजरूह सुल्तानपुरी | गायक - लता मंगेशकर | संगीत - आर डी बर्मन | फ़िल्म - फ़िर कब मिलोगी | वर्ष - 1974

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तुम मुझ से रूठे हो चलो माना
बस यूँ ही, एक बार, हो सके तो मुड़के देखो नाथी जो कभी अपने साजन की अलबेली
कैसे भरी दुनिया में खड़ी है वो अकेली
यूँ ही आते जाते कभी तुम भी ज़रा पूछो नाआगे कभी ऐसी न थीं बेकल मेरी आँखें
जब से तुम्हें देखा हुईं पागल मेरी आँखें
देखे गये तुम को तुम भी देखो, ना