पहेली ना दुसारी शादी का कर दो इंतज़ाम - The Indic Lyrics Database

पहेली ना दुसारी शादी का कर दो इंतज़ाम

गीतकार - शैलेंद्र सिंह | गायक - किशोर कुमार | संगीत - एस डी बर्मन | फ़िल्म - मदभरे नैन | वर्ष - 1955

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पहली न दूसरी तेएसरि पसंद है
शादी का कर दो इंतज़ाम
मेरी ओ मेरी शादी शादी का कर दो इंतज़ाम
पुर्वी न पश्चिमी लछमी पसंद है
शादी का कर दो इंतज़ाम
मेरी ओ मेरी शादी शादी का कर दो इंतज़ाम
पहली न दूसरी तेएसरी पसंद है
शादी का कर दो इंतज़ामघर पे तुम हँसो तो दिये के बिना हो रोशनी
घर पे तुम हँसो
घर पे तुम हँसो तो दिये के बिना हो रोशनी
चाँद हो न हो हर एक रात रहे चाँदनी
अब तो हर एक हाल में ज़िन्दगी पसंद है
शादी का कर दो इंतज़ाम
मेरी मेरी शादी का कर दो इंतज़ामआँखों से पढ़के दिल की बात जान लोगी तुम
आँखों से पढ़के
आँखों से पढ़के दिल की बात जान लोगी तुम
जीत हो तो जीत हार हो तो मान लोगी तुम
कह दो धूप चाँव की ये गली पसंद है
शादी का कर लो इंतज़ाम
मेरी अरे मेरी शादी का कर दो इंतज़ामकोई जा कहो के उन की हाँ का इंतज़ार है
कोई जा कहो
कोई जा कहो के उन की हाँ का इंतज़ार है
doctorबिना इलाज मर्ज़ का शिकार है
मुझको ये तड़पती दिल कि बेकली पसंद है
शादी का कर दो इंतज़ाम
मेरी ओ मेरी शादी का कर दो इंतज़ाम
पहली न दूसरी तेएसरि पसंद है
शादी का कर दो इंतज़ाम
मेरी ओ मेरी शादी शादी का कर दो इंतज़ाम