है बहुत दिनों की - The Indic Lyrics Database

है बहुत दिनों की

गीतकार - राजिंदर कृष्ण | गायक - मन्ना डे, रफ़ी, एस डी बातिश, सहगान | संगीत - चित्रगुप्त | फ़िल्म - भाभी | वर्ष - 1957

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हो हो ओ ओ
है बहुत दिनों की
है बहुत दिनों की बात
था एक मजनूँ, और एक लैला
खा बैठे थे तीर नज़र का, दोनों पहला पहला
जिस्म थे दो, पर एक थी जान
एक दूजे पर, थे क़ुर्बान
एक शमा थी, इक परवाना
इक दीवानी, इक दीवाना
जंगल जंगल, बस्ती बस्ती
मजनूँ प्यार का मारा
आठों पहर लगाता रहता
लैला नाम का नारा

ब: (लैला लैला पुकारूँ मैं बन में
मोरी लैला बसी मोरे मन में)- 2

म: हाँ अ आ अ आ अ आ
दिल के आईने में है तस्वीर-ए-यार
हो ओ ओ ओ
जब ज़रा गर्दन झुकाई देख ली

ब: (लैला लैला पुकारूँ मैं बन में
मोरी लैला बसी मोरे मन में)- 2

को: ऐ मजनूँ दीवाना- 2

र: हाये पत्थर से ना मारो, मेरे दीवाने को- 2
दो घड़ी सुन लो ज़रा, प्यार के अफ़साने को
हाये पत्थर से ना मारो, मेरे दीवाने को
जान ले लो मेरी या, मेरा कलेजा ले लो- 2
मेरे मजनूँ को न छेड़ो, मेरी दुनिया ले लो
हाये मेरी दुनिया ले लो, होये मेरी दुनिया ले लो
क़ैस के बदले में, तैयार हूँ मर जाने को
हाये पत्थर से ना मारो मेरे दीवाने को

ब: लैला
र: क़ैस
ब: लैला
र: हाये क़ैस

म: हाँ अ आ अ आ आं
उल्फ़त का जब मज़ा है कि
वो भी हो बेक़रार
दोनो तरफ़ हो आग बराबर लगी हुई
ब: लैला
र: क़ैस
ब: लैला
र: हाये क़ैस
दुनिया वालो तुम्हें प्यार की दुहाई है- 2
सब कुछ हार के, झोली पसार के
प्यार की भीख लेने आज लैला आयी है
दुनिया वालो तुम्हें प्यार की दुहाई है- 2

हो जाये जो मजनूँ मेरा, क्या बिगड़ेगा दुनिया तेरा
यार मिला दे मेरा, यार हँसा दे मेरा
प्यार की भीख लेने, आज लैला आई है
दुनिया वालों तुम्हें प्यार की दुहाई है- 2

म: लेकिन ये बेरहम ज़माना
दिलवालों की बात ना माना
को: ओ हो हो ओ हो हो ओ हो हो
म: अरे लैला मजनूँ दोनों मर गये
को: ओ ऊ ओ ऊ ओ ऊ
म: मर के भी वो नाम तो कर गये
को: ओ ऊ ओ ऊ ओ ऊ
म: जो नहीं मिलते इस जहान में
मिल जाते हैं आसमान में$