मेरे हाल पर बेबसी रो रही है - The Indic Lyrics Database

मेरे हाल पर बेबसी रो रही है

गीतकार - कमर जलालाबादी, बेहज़ाद लखनऊ | गायक - शमशाद | संगीत - गुलाम हैदर | फ़िल्म - गुलाम हैदर | वर्ष - 1942

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हेल्लो, हिन्दुस्तान का देहरादून?
Hello,मैं रंगून से बोल रहा हूँ
मैं अपनी बीवी रेनुका देवी से बात करना चाहता हूँ
हां हां

शमशाद: मेरे पिया; हो मेरे पिया गये रंगून
किया है वहाँ से टेलीफ़ून
(तुम्हारी याद सताती है - 2) जिया में आग लगाती है
मेरे पिया गये रंगून किया है वहाँ से टेलीफ़ून
(तुम्हारी याद सताती है)- 2 जिया में आग लगाती है

चितलकर: (हम छोड़ के हिन्दुस्तान (बहुत पछताये - 2) - 2
हुई भूल जो तुमको साथ ना लेकर आये - 2
हम बर्मा की गलियों मैं और तुम हो देहरादून
(तुम्हारी याद सताती है - 2) जिया में आग लगाती है

शमशाद: (मेरी भूख प्यास भी खो गये (गम के मारे- 2) - 2
मैं अधमुई सी हो गई ग़म के मारे - 2
तुम बिन, साजन, जनवरी फ़रवरी बन गये मे और जून
(तुम्हारी याद सताती है - 2) जिया में आग लगाती है

चितलकर: (अजी तुमसे बिछड़के हो गये (हम सन्यासी - 2) - 2
खा लेते हैं जो मिल जाये रूखी सूखी बासी - 2
अजी लूंगी बाँध, के करें गुज़ारा भूल गये पतलून
(तुम्हारी याद सताती है - 2) जिया में आग लगाती है