हैं मैं टू लूट गई आके तेरे बाग में मालिक - The Indic Lyrics Database

हैं मैं टू लूट गई आके तेरे बाग में मालिक

गीतकार - आगा हशरा कश्मीरी | गायक - मुख्तार बेगम | संगीत - मुश्ताक अहमद | फ़िल्म - औरत का प्यार | वर्ष - 1933

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अरे मैं तो लुट गई आके तेरे बाग़ में माली
नर्गिस ने आँख की मस्ती फूलों ने चुराई लालीबुलबुल ने मिठास गले की मोरों ने चाल मतवाली
सम्बुल ने बल ज़ुल्फ़ों के कलियों ने हँसी उड़ा लीकैसी चोरी सीना-जोरी से हैं लूटे मेरे हुस्न के बूटे
क्या ख़बर थी मुझको बाग़ में तेरे चोर हैं डाली-डाली