गीतकार - शकील | गायक - रफी | संगीत - नौशाद | फ़िल्म - दीदार | वर्ष - 1951
View in Romanमेरी कहानी भूलने वाले तेरा जहाँ आबाद रहे, मेरी कहानी
तेरी खुशी पर मैं मिट जाऊं दुनिया तेरी आबाद रहे
मेरी कहानी
मेरे गीत सुने दुनिया ने मगर
मेरा दर्द कोई न जान सका
एक तेरा सहारा था दिल को
पर तू भी न मुझे पहचान सका
बचपन के वो गीत पुराने आज तुझे न याद रहे
मेरी कहानी
मैं अपना फ़साना कह न सका
मेरे दिल की तमन्ना दिल में रही
लो आज किनारे पर आके
अरमानों की कश्ती डूब गई
क़िस्मत को मंज़ूर यही था लब पर मेरे फ़रियाद रहे
मेरी कहानी