ज़िंदगी तूने लहू लेके दिया, कुछ भी नहीं - The Indic Lyrics Database

ज़िंदगी तूने लहू लेके दिया, कुछ भी नहीं

गीतकार - गुलजार | गायक - जगजीत सिंह | संगीत - जगजीत सिंग | फ़िल्म - मरासिम | वर्ष - 1999

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ज़िंदगी तूने लहू लेके दिया, कुछ भी नहीं
तेरे दामन में मेरे वास्ते क्या कुछ भी नहीं
मेरे इन हाथों की चाहो तो तलाशी ले लो
मेरे हाथों में लकीरों के सिवा कुछ भी नहीं
हमने देखा है कई ऐसे खुदाओं को यहाँ
सामने जिन के वो सचमुच का ख़ुदा कुछ भी नहीं
या ख़ुदा अब के ये किस रंग से आई है बहार
ज़र्द ही ज़र्द है पेड़ों पे हरा कुछ भी नहीं
दिल भी एक ज़िद पे अड़ा है किसी बच्चे की तरह
या तो सब कुछ ही इसे चाहिये या कुछ भी नहीं