ज़हनसीब ज़हनसीब - The Indic Lyrics Database

ज़हनसीब ज़हनसीब

गीतकार - अमिताभ भट्टाचार्य | गायक - लता मंगेशकर | संगीत - बप्पी लाहिड़ी | फ़िल्म - लहू के दो रंग | वर्ष - 1979

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ज़हनसीब ज़हनसीब
तुझे चाहूँ बेतहाशा ज़हनसीब
मेरे करीब मेरे हबीब
तुझे चाहूँ बेतहाशा ज़हनसीब
तेरे संग बीते हर लम्हें पे हमको नाज़ है
तेरे संग जो न बीतें उसपे ऐतराज़ है
इस क़दर हम दोनों का मिलना एक राज़ है
हुआ अमीर दिल गरीब
तुझे चाहूँ बेतहाशा ज़हनसीब
लेना देना नहीं दुनिया से मेरा बस तुझसे काम है
तेरी अँखियों के शहर में यारा सब इंतज़ाम है
खुशियों का एक टुकड़ा मिले या मिले ग़म के खुरचने
यारा तेरे मेरे खर्चे में दोनों का ही एक दाम है
होना लिखा था यूँ ही जो हुआ
या होते होते अभी अनजाने में हो गया
जो भी हुआ, हुआ अजीब
तुझे चाहूँ बेतहाशा ज़हनसीब