भोले मुसाफिर इतना तो जान - The Indic Lyrics Database

भोले मुसाफिर इतना तो जान

गीतकार - रूपबानी | गायक - जोहराबाई अंबलेवाली | संगीत - अल्ला रक्खा | फ़िल्म - माँ बाप | वर्ष - 1944

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( भोले मुसाफ़िर इतना तो जान
के दिन सारे होते नहीं एक समान ) -२दो आँखों से देख अपने दाता की लीला
दाता की लीला
जो दुख तुझपे जीवन बनाये रंगीला
बनाये रंगीला
वो जिस रंग में रखे उसी रंग में हँसना -२
जो वो तुझपे ख़ुश है तो ख़ुश है जहान -२भोले मुसाफ़िर इतना तो जान
के दिन सारे होते नहीं एक समान
भोले मुसाफ़िर इतना तो जान( न समझों ग़रीबों का कोई नहीं
दया मेरे मालिक की सोई नहीं ) -२
वो महलों से गलियों में ला के सुलाये -२
वो पल भर में तोड़ेगा दौलत-सम्मान -२भोले मुसाफ़िर इतना तो जान
के दिन सारे होते नहीं एक समान
भोले मुसाफ़िर इतना तो जानवो कहते हैं जिसको रहीम और राम -२
वो अल्लाह ईशवर ख़ुदा जिसका नाम -२
वो हर रंग में खेले तू उसको पुकार -२
देगा वही तुझको ख़ुशियों का दान -२भोले मुसाफ़िर इतना तो जान
के दिन सारे होते नहीं एक समान
भोले मुसाफ़िर इतना तो जान