हम प्यार में जलने वालों को - The Indic Lyrics Database

हम प्यार में जलने वालों को

गीतकार - राजेन्द्र कृष्ण | गायक - लता मंगेशकर | संगीत - मदन मोहन | फ़िल्म - जेलर | वर्ष - 1958

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हम प्यार में जलने वालों को
चैन कहाँ हाय, आराम कहाँ
प्रीत की अंधियारी मंज़िल में चारों ओर सियाही
आधी राह में ही लुट जाए इस मंज़िल का राही
काँटों पर चलने वालों को चैन कहाँ हाय, आराम कहाँ
बहलाए जब दिल ना बहले तो ऐसे बहलाएं
ग़म ही तो है प्यार की दौलत ये कहकर समझाएं
अपना मन छलने वालों को चैन कहाँ हाय, आराम कहाँ