ओ मांझी रे जाए कहानी - The Indic Lyrics Database

ओ मांझी रे जाए कहानी

गीतकार - मजरूह सुल्तानपुरी | गायक - आशा भोंसले | संगीत - आर डी बर्मन | फ़िल्म - बंधे हाथ | वर्ष - 1973

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((ओ माँझी) -४ रे जाए कहाँ) -२
कहाँ
नैनों में मेरे घटा घनघोर
साँसों में उठे पवन का शोर
आने वाला है रे कोई तूफ़ाँ
ओ माँझी ...प्यार ओ माँझी तेरा झूठा है
मीत बनके तूने लूटा है
भरी दुनिया में अकेली हूँ
जान घायल दिल टूटा है
सूझे नहीं आर पार
लाया कहाँ तेरा प्यार
ओ माँझी ...तू मेरा है मैंने सोचा था
यही सपना था निगाहों में
तू खिवैया होगा रे जीवन का
पार उतरूँगी तेरी बाहों में
एक तू ही था मेरा
और तू भी चल दिया
ओ माँझी ...