कुदा रक्खे आबाद जीवन तुमहारा - The Indic Lyrics Database

कुदा रक्खे आबाद जीवन तुमहारा

गीतकार - पंडित ज्ञान | गायक - अहमद दिलावरी | संगीत - मास्टर मोहम्मद | फ़िल्म - तूफ़ानी टारज़न | वर्ष - 1937

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ख़ुदा रक्खे आबाद जीवन तुमहारा
(हाँ) हो जाए अमर ??? गुल्शन तुमहरामिला जो ना बस्ती में बन में वो पाया
खिला है उम्मिदों का गुल्शन तुम्हारामुहब्बत से जन्गल में मंगल बना दो
भरा है मुरादों से दामन तुमहाराचला कारवां ख़ुश रहोओ बुलबुलो तुम
फले फूले हरदम ये गुल्शन तुमहाराख़ुश रहो, ख़ुश रहो, ख़ुश रहो,